Mahakumbh 2025: भारत की परंपरा और ग्लोबल भाईचारे का अनुपम संगम
kMahakumbh 2025 में आएंगे 73 देशों के 116 राजदूत, एरियाल में एक भव्य स्वागत की प्रतीक्षा है, उसके बाद संगम में पवित्र डुबकी लगाई जाएगी
प्रयागराज में आयोजित होने वाले महाकुंभ 2025 में इस बार 73 देशों के 116 राजदूत शामिल होंगे। यह आयोजन आध्यात्मिकता, सांस्कृतिक भव्यता और ग्लोबल एकता का प्रतीक बनेगा। 1 फरवरी को अरेल में भव्य स्वागत किया जाएगा, जहां सभी राजदूत अपने-अपने देश का राष्ट्रीय ध्वज फहराएंगे और इसके बाद संगम में पवित्र की डुबकी लगाएंगे।
आध्यात्मिक और सांस्कृतिक अनुभव की प्रतीक्षा है
सिर्फ संगम स्नान ही नहीं, बल्कि इन विदेशी मेहमानों को भारतीय संस्कृति और आध्यात्मिक धरोहर से भी अवगत कराया जाएगा। वे अक्षयवट, सरस्वती कूप और हनुमान मंदिर के दर्शन करेंगे और वहां की दिव्यता को अनुभव करेंगे। यह Mahakumbh उनके लिए आध्यात्मिक ऊर्जा और भारतीय परंपराओं को समझने का एक अनोखा अवसर होगा।
Mahakumbh 2025 : 73 देशों से भागीदारी
इस ऐतिहासिक आयोजन में अमेरिका, ब्राजील, दक्षिण अफ्रीका, फ्रांस, रूस, स्विट्जरलैंड, जापान, न्यूजीलैंड, जर्मनी, नेपाल और कनाडा सहित 73 देशों के डिप्लोमैट्स की भागीदारी रहेगी। यह आयोजन भारत की ग्लोबल पहचान को और मजबूत करेगा और विश्व में इसकी आध्यात्मिक धरोहर का प्रचार करेगा।
Kumbh 2019 से जारी विरासत
गौरतलब है कि 2019 के कुंभ मेले में भी 73 देशों के राजदूतों को आमंत्रित किया गया था। इस बार भी उसी परंपरा को आगे बढ़ाते हुए, राजनयिकों को भारतीय संस्कृति और अध्यात्म का अनुभव कराया जाएगा। यह आयोजन अंतरराष्ट्रीय कूटनीति और आध्यात्मिक संवाद को और मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
Also Read This: GI-PKL : ग्लोबल इंडियन प्रवासी कबड्डी लीग ने की सभी 12 फ्रेंचाइजी के कप्तानों की घोषणा
Mahakumbh 2025 सिर्फ एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि भारत की संस्कृति, सहिष्णुता और ग्लोबल भाईचारे का प्रतीक बनेगा।