Animesh Kujur : भारत का सबसे तेज धावक और एथलेटिक्स की नई उम्मीद

Animesh Kujur
Animesh Kujur : भारतीय एथलेटिक्स में एक नया सितारा तेजी से उभर रहा है, जो लंबे समय से लंबी दूरी की दौड़ के प्रभुत्व वाले क्षेत्र में स्प्रिंटिंग को नई पहचान दिला रहा है। महज 22 साल की उम्र में, अनिमेष ने अपनी रफ्तार से सबको चौंकाया है और भारत के सबसे तेज धावक के रूप में पहचान बना ली है। वह राष्ट्रीय रिकॉर्ड तोड़ रहे हैं और वैश्विक मंच पर भारत की उम्मीदों को नई ऊंचाइयों तक ले जा रहे हैं। साधारण शुरुआत से लेकर विश्व स्तर पर प्रतिस्पर्धा तक, अनिमेष की कहानी मेहनत, अनुशासन और कच्ची प्रतिभा की मिसाल है।

Early life and background (प्रारंभिक जीवन और पृष्ठभूमि)
2 जून, 2003 को छत्तीसगढ़ के एक छोटे से आदिवासी गांव में जन्मे अनिमेष कुजूर एक अनुशासित परिवार में पले-बढ़े। उनके पिता, अमृत कुजूर, डिप्टी सुपरिंटेंडेंट ऑफ पुलिस हैं, जबकि उनकी माता, रीना कुजूर, ने उनमें मेहनत और सादगी के मूल्य स्थापित किए। शुरुआत में फुटबॉल के प्रति आकर्षित अनिमेष की मैदान पर तेजी ने कोचों का ध्यान खींचा, जिसके बाद उन्होंने एथलेटिक्स की ओर रुख किया। उनकी 6 फीट 2 इंच की लंबी कद-काठी, जो भारतीय धावकों में असामान्य है, उनके लिए एक ताकत और चुनौती दोनों साबित हुई।
Animesh Kujur की कच्ची प्रतिभा को ओडिशा रिलायंस फाउंडेशन एथलेटिक्स हाई परफॉर्मेंस सेंटर में कोच मार्टिन ओवेन्स के मार्गदर्शन में निखारा गया। तकनीक को बेहतर करने और पेशेवर मानसिकता विकसित करने पर ध्यान देने के साथ, अनिमेष ने तेजी से तरक्की की और साबित किया कि वह केवल एक छोटे गांव का एथलीट नहीं है।
रिकॉर्ड तोड़ते हुए और इतिहास रचते हुए
अनिमेष कुजूर का स्प्रिंटिंग करियर शानदार प्रदर्शनों से भरा हुआ है:

- राष्ट्रीय रिकॉर्ड: अनिमेष ने 100 मीटर (10.18 सेकंड, जुलाई 2025 में ग्रीस के ड्रोमिया इंटरनेशनल स्प्रिंट मीट में), 200 मीटर (20.32 सेकंड, 2025 एशियाई एथलेटिक्स चैंपियनशिप में) और 4×100 मीटर रिले (38.69 सेकंड, नेशनल रिले कार्निवल 2025) में भारत के राष्ट्रीय रिकॉर्ड बनाए।
- एशियाई एथलेटिक्स चैंपियनशिप 2025: दक्षिण कोरिया के गुमी में आयोजित चैंपियनशिप में अनिमेष ने 200 मीटर में 20.32 सेकंड के राष्ट्रीय रिकॉर्ड समय के साथ कांस्य पदक जीता। वह लगभग आधी सदी में इस आयोजन में महाद्वीपीय स्तर पर पदक जीतने वाले केवल दूसरे भारतीय बने।
- मोनाको डायमंड लीग 2025: अनिमेष ने डायमंड लीग में भाग लेने वाले पहले भारतीय धावक के रूप में इतिहास रचा, जहां उन्होंने U23 200 मीटर में 20.55 सेकंड के समय के साथ चौथा स्थान हासिल किया। ऑस्ट्रेलिया के गाउट गाउट जैसे प्रतिभाशाली धावकों के खिलाफ दौड़कर उन्होंने विश्व स्तर की प्रतिस्पर्धा का अनुभव प्राप्त किया।
- फेडरेशन कप 2024: अनिमेष ने 200 मीटर में स्वर्ण (20.62 सेकंड) और 100 मीटर में रजत (10.50 सेकंड) जीतकर अपनी प्रतिभा का परिचय दिया।
- अन्य उपलब्धियां: उन्होंने 2024 ऑल इंडिया इंटर-यूनिवर्सिटी एथलेटिक्स मीट (200 मीटर, 20.57 सेकंड) और U23 ओपन एथलेटिक्स चैंपियनशिप (200 मीटर, 20.65 सेकंड) में स्वर्ण पदक जीते, जिससे भारत के शीर्ष धावक के रूप में उनकी स्थिति मजबूत हुई।
प्रशिक्षण और तकनीक
अनिमेष की सफलता कोई संयोग नहीं है। उनकी 6 फीट 2 इंच की कद-काठी उन्हें शक्तिशाली स्ट्राइड देती है, लेकिन शुरुआती ब्लॉक से उनकी शुरुआत में सुधार की जरूरत रही है। कोच मार्टिन ओवेन्स और क्रिस वूली के मार्गदर्शन में, उन्होंने ब्लॉक से विस्फोटक शुरुआत, गतिशीलता और समग्र तकनीक पर काम किया है। जून 2025 से, अनिमेष यूरोप (स्विट्जरलैंड और जर्मनी) में प्रशिक्षण ले रहे हैं, जहां उन्हें विश्व-स्तरीय सुविधाएं और प्रतिस्पर्धा का अनुभव मिल रहा है। उनकी अनुशासित जीवनशैली, जिसमें सख्त आहार और कठिन प्रशिक्षण शामिल है, उनकी उत्कृष्टता के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है।

मोनाको डायमंड लीग में नोआह लाइल्स जैसे वैश्विक सितारों के साथ प्रतिस्पर्धा ने भी अनिमेष की मानसिकता को आकार दिया है। वह महान धावक जेसी ओवेन्स से प्रेरणा लेते हैं, जिनकी विपरीत परिस्थितियों में जीत की कहानी उनके साथ गहराई से जुड़ती है।
भविष्य की महत्वाकांक्षाएं
Animesh Kujur की नजर बड़े लक्ष्यों पर है। वह 2025 में टोक्यो में होने वाली विश्व चैंपियनशिप के लिए क्वालीफाई करना चाहते हैं, या तो 200 मीटर में 20.16 सेकंड का प्रवेश मानक हासिल करके (उनके व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ से केवल 0.16 सेकंड तेज) या विश्व रैंकिंग के जरिए, जहां वह वर्तमान में 39वें स्थान पर हैं। अनिमेष का सपना 100 मीटर में 10 सेकंड का अवरोध तोड़ने का भी है, जो कोई भी भारतीय अब तक हासिल नहीं कर पाया है। 10.18 सेकंड के उनके मौजूदा व्यक्तिगत सर्वश्रेष्ठ समय के साथ, वह इस लक्ष्य के बेहद करीब हैं।

Animesh Kujur : उम्मीद का प्रतीक
Animesh Kujur का एक आदिवासी गांव से वैश्विक मंच तक का सफर भारतीय एथलेटिक्स के लिए एक प्रेरणादायक कहानी है। उनकी उपलब्धियों ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की प्रशंसा हासिल की है, जिन्होंने उन्हें राज्य और राष्ट्र के लिए गर्व का स्रोत बताया। भारत में, जहां क्रिकेट अक्सर अन्य खेलों पर हावी रहता है, अनिमेष की सफलता ट्रैक और फील्ड में नई रुचि जगा रही है, जिससे युवा एथलीट बड़े सपने देखने के लिए प्रेरित हो रहे हैं।
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Animesh Kujur : सिर्फ भारत के सबसे तेज धावक नहीं हैं; वह इस बात का प्रतीक हैं कि प्रतिभा, मेहनत और अवसर मिलने पर क्या संभव है। जैसे-जैसे वह रिकॉर्ड तोड़ रहे हैं और वैश्विक मंच पर प्रतिस्पर्धा कर रहे हैं, अनिमेष न केवल व्यक्तिगत गौरव की तलाश में हैं, बल्कि अगली पीढ़ी के भारतीय धावकों के लिए रास्ता भी बना रहे हैं। इस उभरते सितारे पर नजर रखें—वह अभी शुरुआत कर रहा है।